लाडो प्रोत्साहन योजना: राजस्थान सरकार ने बेटियों के जन्म को प्रोत्साहित करने के लिए लाडो प्रोत्साहन योजना की शुरुआत की है। इस योजना का उद्देश्य समाज में बेटियों के महत्व को बढ़ावा देना और उन्हें आर्थिक सहायता प्रदान करना है। इसके तहत, राज्य की हर बेटी को जन्म से लेकर 21 साल की उम्र तक विभिन्न किश्तों में 1 लाख रुपये की सहायता दी जाएगी। यह योजना खासतौर पर 1 अगस्त 2024 के बाद जन्मीं बालिकाओं के लिए लागू की गई है।
Lado Protsahan Yojana का महत्व
यह योजना पहले से चल रही “राजश्री योजना” का नया रूप है। सरकार ने इस योजना के तहत मिलने वाली राशि को 50,000 से बढ़ाकर 1 लाख रुपये कर दिया है। इस कदम का मुख्य उद्देश्य बेटियों के जन्म को प्रोत्साहन देना और उनके विकास में आर्थिक सहयोग प्रदान करना है। लाडो योजना के माध्यम से राजस्थान की बालिकाओं को जन्म से लेकर शिक्षा तक हर चरण में सहायता प्रदान की जाती है, जिससे उन्हें सशक्त और आत्मनिर्भर बनाया जा सके।
Lado Protsahan Yojana के उद्देश्य
लाडो प्रोत्साहन योजना का उद्देश्य बेटियों के जन्म को बढ़ावा देना और उनके जीवन के हर पड़ाव में आर्थिक सहायता प्रदान करना है। इस योजना के जरिए बेटियों के प्रति समाज में व्याप्त नकारात्मक सोच को बदलने और उनके जन्म को एक उत्सव के रूप में मनाने पर जोर दिया गया है। सरकार चाहती है कि लोग बेटियों के जन्म को बोझ के रूप में न देखें, बल्कि इसे एक सम्मान और गर्व की बात समझें।
Lado Protsahan Yojana के तहत मिलने वाली सहायता
इस योजना के तहत, बेटी के जन्म से लेकर 21 वर्ष की उम्र तक 7 किश्तों में राशि दी जाएगी। यह सहायता प्रत्येक बालिका को उसके शैक्षणिक और स्वास्थ्य संबंधी मील के पत्थर पर प्रदान की जाएगी। उदाहरण के लिए, बेटी के जन्म पर 2500 रुपये, 1 साल की उम्र पर टीकाकरण के बाद 2500 रुपये, और शिक्षा के प्रत्येक महत्वपूर्ण पड़ाव पर भी राशि प्रदान की जाएगी। कुल मिलाकर, बेटी को 21 साल की उम्र तक 1 लाख रुपये की सहायता राशि दी जाएगी।
Lado Protsahan Yojana के लाभ
इस योजना के तहत बालिकाओं को आर्थिक रूप से समर्थ बनाने के साथ-साथ उनकी शिक्षा और स्वास्थ्य को भी प्रोत्साहित किया जा रहा है। सरकार की यह पहल बालिकाओं को आत्मनिर्भर बनाने और उनके भविष्य को सुरक्षित करने में मददगार साबित होगी। इससे समाज में बेटियों के प्रति सकारात्मक सोच का विकास होगा और लोग उन्हें बोझ के रूप में देखने की बजाय उन्हें अपने परिवार का अभिन्न अंग समझेंगे।
सम्बंधित ख़बरें
Lado Protsahan Yojana की पात्रता
इस योजना का लाभ लेने के लिए कुछ आवश्यक मापदंड तय किए गए हैं। बालिका का जन्म राजस्थान के किसी सरकारी या सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त अस्पताल में होना अनिवार्य है। साथ ही, गर्भवती महिला का राजस्थान की निवासी होना आवश्यक है और इसे साबित करने के लिए एएनसी जांच के दौरान निवासी प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना होगा। इस योजना में किसी जाति, धर्म या वर्ग के आधार पर कोई भेदभाव नहीं किया गया है, और सभी बालिकाएं इस योजना का लाभ उठा सकती हैं।
Lado Protsahan Yojana में आवेदन प्रक्रिया
इस योजना के तहत लाभ प्राप्त करने के लिए कोई ऑनलाइन आवेदन या ई-मित्र केंद्र पर जाने की आवश्यकता नहीं है। गर्भवती महिला को एएनसी जांच के समय सभी आवश्यक दस्तावेज, जैसे निवासी प्रमाण पत्र, बैंक खाता डिटेल्स, आधार कार्ड आदि, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग में जमा कराने होंगे। इसके बाद विभाग इन दस्तावेजों को पीसीटीएस पोर्टल पर अपलोड करेगा, और बालिका के जन्म की पुष्टि के बाद पहली किश्त माता-पिता के खाते में जमा की जाएगी। इसके साथ ही, बालिका को एक यूनिक आईडी या पीसीटीएस नंबर दिया जाएगा, जिससे भविष्य में उसे अन्य किश्तें मिलती रहेंगी।
निष्कर्ष
लाडो प्रोत्साहन योजना राजस्थान सरकार की एक महत्वपूर्ण पहल है, जिसका उद्देश्य बेटियों के जन्म को प्रोत्साहित करना और उन्हें आर्थिक सहयोग प्रदान करना है। इस योजना के तहत बालिकाओं को जन्म से लेकर 21 वर्ष तक कई चरणों में 1 लाख रुपये की सहायता दी जाती है, जिससे वे आर्थिक रूप से मजबूत बन सकें। यह योजना बालिकाओं को शिक्षा और स्वास्थ्य में भी सहयोग प्रदान करती है, जिससे उनके समग्र विकास में मदद मिलती है। सरकार की यह पहल समाज में बेटियों के प्रति सकारात्मक सोच को बढ़ावा देने और उन्हें सम्मानजनक जीवन जीने के अवसर प्रदान करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
यह भी पढ़ें :-